Seven gangs are making learning DL without examination by doing fraud
यूपी में 18 वर्ष की उम्र पार करने वाले युवक और युवतियों को बगैर टेस्ट दिए ही लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस जारी किए, परिवहन विभाग ने गिरोह को चिन्हित किया l
फर्जीवाड़ा कर बिना परीक्षा लर्निंग डीएल बना रहे सात गिरोह
लखनऊ, वरिष्ठ संवाददाता। यूपी में 18 वर्ष की उम्र पार करने वाले युवक और युवतियों को फर्जीवाड़ा कर लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस जारी किए जा रहे हैं। ऐसे लर्निंग डीएल बनाने वाले गिरोह के सात सदस्य यूपी के कई शहरों में सक्रिय हैं। इसे परिवहन विभाग की ऑनलाइन आधार प्रमाणिक व्यवस्था से सेंध लगा दिया है। इन गिरोहों के सदस्य अभ्यर्थी के मोबाइल नंबर पर ओटीपी भेजकर उससे सही जवाब लेकर ऑनलाइन लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस जारी कर देते हैं। लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस की ऑनलाइन परीक्षा में 15 सवाल होते हैं। इसमें नौ के सही जवाब देने वाले ही पास होते हैं। मगर साइड कॅफे में सक्रिय गिरोह के सदस्य खुद परीक्षा देकर पास होते हैं। बदले में आवेदन से 500 से 2000 रुपये तक अतिरिक्त सुविधा शुल्क लेते हैं। ड्राइवर बनने के इच्छुक अभ्यर्थी परीक्षा दिए बगैर लाइसेंस हासिल कर रहा है। ये गिरोह लखनऊ, नोएडा, गाजियाबाद, मेरठ और आगरा जैसे शहरों में सक्रिय हैं। ये गिरोह ऑनलाइन लर्निंग डीएल आवेदन की प्रक्रिया में सेंध लगाकर पिछले दो वर्ष से सक्रिय हैं। Seven gangs are making learning DL without examination by doing fraud
जनवरी 2022 से शुरू हुई फेसलेस व्यवस्था
लर्निंग डीएल सॉफ्टवेयर में गड़बड़ी मिली है। इसका फायदा उठाकर कुछ लोग बगैर आवेदन के ट्रैफिक नियमों की परीक्षा दिए लाइसेंस जारी कर रहे हैं। – आकाश सिंह अपर परिवहन आयुक्त (आईटी)
छह जनवरी 2022 को यूपी में आधार के पते पर लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस जारी करने की फेसलेस प्रणाली लागू की गई। फेसलेस लर्निंग डीएल घर बैठे बनाने के लिए पहले आवेदन कर टेस्ट देने के बाद खुद से प्रिंट किए जाने की व्यवस्था रही।
सॉफ्टवेयर में बदलाव को दिल्ली भेजी चिट्ठी
ऑनलाइन लर्निंग डीएल आवेदन सॉफ्टवेयर में बदलाव के लिए पूर्व परिवहन आयुक्त व सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय को चिट्ठी भेजी गई थी। लर्निंग लाइसेंस प्रक्रिया में बदलाव को लेकर सिफारिश की थी। Seven gangs are making learning DL without examination by doing fraud
सिद्धांत
ड्राइवर टेस्ट के लिए ओटीपी आता है। यह ओटीपी ड्राइवर के मोबाइल नंबर पर भेजा जाता है। इस ओटीपी के सही जवाब से ऑनलाइन टेस्ट में पास होने के बाद लर्निंग डीएल जारी हो जाता है। परीक्षा में फेल होने वाले अभ्यर्थी से गिरोह के सदस्य उसके मोबाइल नंबर पर आए ओटीपी को सही कर परीक्षा पास कर देते हैं।
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